एडमिरल मार्केट्स के खाते

बैंक ऑफ बड़ौदा ने हाल ही लॉन्च किए गए अपने ‘बड़ौदा मिलिट्री सेलेरी पैकेज‘ के लिए रक्षा बलों के साथ किए समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
जयपुर 21 दिसंबर 2020 – देश में सार्वजनिक क्षेत्र के बड़े बैंकों में से एक बैंक ऑफ बड़ौदा ने भारतीय नौसेना और भारतीय तटरक्षक बल के साथ के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए और भारतीय सेना के साथ अपने वर्तमान एमओयू का नवीनीकरण किया है। यह समझौता ‘बड़ौदा मिलिट्री सेलेरी पैकेज‘ के माध्यम से कस्टमाइज्ड बैंकिंग सुविधाएं उपलब्ध कराने के क्रम में किया गया है। बैंक ने भारतीय वायु सेना के साथ भी इसी तरह की व्यवस्था की है और इस तरह बैंक ने रक्षा मंत्रालय के तहत सभी चार सशस्त्र बलों को कवर कर लिया है। बैंक ने इसी तरह का पैकेज केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों के लिए भी पेश किया है।
‘बड़ौदा मिलिट्री सेलेरी पैकेज‘ के तहत भारतीय सशस्त्र बलों के सेवारत और सेवानिवृत्त कर्मियों को बैंक की 8200 से अधिक घरेलू शाखाओं के नेटवर्क और लगभग 20,000 बिजनेस काॅरेस्पोंडेंट के माध्यम से सेवाएं उपलब्ध हो सकेंगी। इस पैकेज में निशुल्क व्यक्तिगत दुर्घटना बीमा कवर, स्थायी विकलांगता कवर, आंशिक विकलांगता कवर और बड़ी राशि के हवाई दुर्घटना बीमा के साथ-साथ सेवारत कर्मियों के मामले में उच्च शिक्षा से संबंधित कवर और लड़की के विवाह से संबंधित कवर सहित बहुत ही आकर्षक लाभ दिए गए हैं।
पैकेज के तहत उपलब्ध कराए गए अन्य आॅफर्स में सभी बैंकों के एटीएम में असीमित मुफ्त एटीएम लेनदेन, खुदरा ऋणों में विभिन्न सेवा शुल्क पर छूट/रियायतें, आरटीजीएस/एनईएफटी के माध्यम से निशुल्क रेमिटेंस सुविधा, निशुल्क डिमांड ड्राफ्ट/बैंकर चेक, लॉकर के किराए में पर्याप्त छूट, डीमैट खाते के मेंटीनेंस शुल्क में छूट शामिल हैं। साथ ही, डेबिट कार्ड और क्रेडिट कार्ड का उपयोग करने पर भी विभिन्न अतिरिक्त लाभ दिए गए हैं।
इस अवसर पर बैंक के कार्यकारी निदेशक श्री विक्रमादित्य सिंह खिची ने कहा, ‘‘बैंक ऑफ बड़ौदा में हमें अपने सशस्त्र बलों को सेवाएं उपलब्ध कराने पर खुशी का अनुभव हो रहा है और इस एडमिरल मार्केट्स के खाते पहल के साथ, यह हमारा प्रयास है कि हम भारतीय सशस्त्र बलों के एडमिरल मार्केट्स के खाते सेवारत और सेवानिवृत्त कार्मिकों के लिए एक बेहतर बैंकिंग अनुभव प्रदान करें। कर्मियों को मजबूर करता है। ‘बड़ौदा मिलिट्री सेलेरी पैकेज‘ के तहत उपलब्ध कराई जाने वाली सुविधाएँ इसे बैंकिंग उद्योग में उपलब्ध सर्वोत्तम श्रेणी के वेतन और पेंशन पैकेजों में से एक बनाती हैं।‘‘
सहमति पत्र पर बैंक आॅफ बड़ौदा की ओर से कार्यकारी निदेशक एडमिरल मार्केट्स के खाते श्री विक्रमादित्य सिंह खिची और भारतीय सेना की ओर से लेफ्टीनेंट जनरल रविन खोसला, एवीएसएम, एसएम, डीजी (एमपी एंड पीएस) ने हस्ताक्षर किए। इस दौरान लेफ्टीनेंट जनरल हर्षा गुप्ता, एवीएसएम, वायएसएम, वीएसएम भी उपस्थित रहे। भारतीय तटरक्षक बल की ओर से डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल डी एस सैनी, टीएम, प्रिंसीपल डायरेक्टर (एडमिनिस्ट्रेशन) ने एमओयू पर हस्ताक्षर किए। ‘बड़ौदा मिलिट्री सेलेरी पैकेज‘ भारतीय वायु सेना को प्रस्तुत किया गया था।
बैंक और भारतीय नौसेना के बीच समझौता ज्ञापन पर बैंक आॅफ बड़ौदा की ओर से जनरल मैनेजर (गवर्नमेंट रिलेशनशिप्स एंड पीएसयू) श्री अश्विनी कुमार और भारतीय नौसेना की ओर से कमोडोर नीरज मल्होत्रा (पी एंड ए) ने हस्ताक्षर किए। इस अवसर पर बैंक आॅफ बड़ौदा के कार्यकारी निदेशक श्री विक्रमादित्य सिंह खिची और रियर एडमिरल गिरीश के गर्ग, एसीओपी (एसी) भी उपस्थिति रहे।
बैंक ऑफ बड़ौदा के बारे में
20 जुलाई, 1908 को स्थापित बैंक ऑफ बड़ौदा (‘‘बैंक‘‘) सरकारी स्वामित्व वाला बैंकिंग और वित्तीय सेवा संगठन है, जिसका मुख्यालय वड़ोदरा (जिसे पहले बड़ौदा के नाम से जाना जाता था), भारत में है।
बैंक ऑफ बड़ौदा भारत का तीसरा सबसे बड़ा बैंक है, जिसकी देशभर में एक मजबूत घरेलू उपस्थिति है। बैंक के वितरण नेटवर्क में 8,200 एडमिरल मार्केट्स के खाते से अधिक शाखाएं, 10,000 से अधिक एटीएम और 1,200 से अधिक सेल्फ-सर्विस ई-लॉबी और 20,000 बिजनेस काॅरेस्पोन्डेंट शामिल हैं। 20 देशों में फैले 100 शाखाओं/सहायक कार्यालयों के नेटवर्क के साथ बैंक की एक महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय उपस्थिति है। बैंक के पास पूरी तरह से स्वामित्व वाली सहायक कंपनियां हैं, जिनमें बाॅब फाइनेंशियल सॉल्यूशंस लिमिटेड (पूर्ववर्ती बाॅब कार्ड्स लिमिटेड), बाॅब कैपिटल मार्केट्स और बाॅब एसेट मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड शामिल हैं। बीमा क्षेत्र में भी बैंक ऑफ बड़ौदा का संयुक्त उद्यम- इंडिया फस्र्ट लाइफ इंश्योरेंस कंपनी है। नैनीताल बैंक में बैंक आॅफ बड़ौदा का 98.57 प्रतिशत हिस्सा है। बैंक ने तीन क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों अर्थात बड़ौदा उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक, बड़ौदा राजस्थान ग्रामीण बैंक और बड़ौदा गुजरात ग्रामीण बैंक को भी प्रायोजित किया है।
इंडियन कोस्ट गार्ड को मिले स्वदेशी ‘ग्रीन हेलीकॉप्टर’, जानें खासियत
Coastal Security: तटीय सुरक्षा (Coastal Security) में लगे भारतीय कोस्ट गार्ड को मेड इन इंडिया' के तहत दो 'ग्रीन हेलीकॉप्टर' सौंपे गए.
- PTI-भाषा
- Publish Date - March 19, 2021 / 09:26 AM IST
तटीय सुरक्षा (Coastal Security) में लगे भारतीय कोस्ट गार्ड को मेड इन इंडिया’ के तहत दो ‘ग्रीन हेलीकॉप्टर’ सौंपे गए. पहले बैच में मिले दो ‘ग्रीन हेलीकॉप्टर’ ‘ध्रुव’ एडवांस्ड लाइट हेलीकॉप्टर मार्क-III वेरिएंट के विमानों का निर्माण हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) ने किया है. मुंबई हमले के बाद तटीय सुरक्षा (Coastal Security) के मद्देनजर एचएएल को मार्क-III के 16 विमानों का ऑर्डर दिया गया था. हरे रंग के इन हेलीकॉप्टरों में कोस्ट गार्ड की जरूरतों के आधार पर 19 बदलाव किये गए हैं.
16 एएलएच ध्रुव हेलीकॉप्टरों का दिया गया है ऑर्डर
तटीय सुरक्षा (Coastal Security) के लिए ‘मेड इन इंडिया’ के तहत तैयार किये गए पांच ग्रीन हेलीकॉप्टरों का पहला बैच एयरो इंडिया के आखिरी दिन 5 फरवरी को एचएएल ने नौसेना अध्यक्ष एडमिरल करमबीर सिंह को सौंपा था. इसमें 3 ‘ध्रुव’ एडवांस्ड लाइट हेलीकॉप्टर मार्क-III वेरिएंट नौसेना और दो एएलएच इंडियन कोस्ट गार्ड के लिए थे. अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी और उन्नत सेंसर से लैस समुद्री मिशन के लिए कोस्ट गार्ड की ऑपरेशन तैयारियों को बढ़ाने के लिए यही दो हेलीकॉप्टर आज एक समारोह में सौंप दिए गए.
मुंबई पर आतंकवादी हमला होने के 9 साल बाद कम तीव्रता वाले समुद्री संचालन और तटीय सुरक्षा (Coastal Security) क्षमताओं को और मजबूत करने के लिए इंडियन कोस्ट गार्ड ने मार्च, 2017 में एचएएल से लगभग 5,126 करोड़ रुपये के अनुबंध पर हस्ताक्षर किए थे. इसके तहत पांच साल की समय सीमा में मार्क-III वेरिएंट के 16 एएलएच ध्रुव हेलीकॉप्टरों (फिक्स्ड व्हील) की आपूर्ति की जानी थी. भारतीय कोस्ट गार्ड ने इस्तेमाल हो रहे पुराने एमके-I वैरिएंट में अपनी जरूरत के मुताबिक तकनीकी बदलाव के कई सुझाव एचएएल के हेलीकॉप्टर डिवीजन को दिए थे.
270 डिग्री कवरेज के साथ एक निगरानी रडार
इस पर एचएएल के इंजीनियरों ने ‘ध्रुव’ एडवांस्ड लाइट हेलीकॉप्टर मार्क-III वेरिएंट में तटीय सुरक्षा के लिए 270 डिग्री कवरेज के साथ एक निगरानी रडार लगाया है, जो कई समुद्री लक्ष्यों का पता लगाकर उन्हें वर्गीकृत और ट्रैक कर सकता है. सिंथेटिक-एपर्चर एडमिरल मार्केट्स के खाते रडार, उल्टा सिंथेटिक-एपर्चर रडार और मूविंग टारगेट इंडिकेशन लगाया गया है, जिसमें वेदर मोड भी है. टोही नियंत्रण के लिए सह-पायलट की ओर बहु-स्पेक्ट्रल इलेक्ट्रो-ऑप्टिक भी लगाया गया एडमिरल मार्केट्स के खाते है, जो लक्ष्य प्राप्ति और सीमा की खोज करता है.
इसके अलावा अन्य सुविधाओं में एयर एम्बुलेंस भूमिका के लिए चिकित्सा गहन देखभाल इकाई (आईसीयू) शामिल की गई है. हाई-इंटेंसिटी सर्चलाइट, लाउरहाइलर, 12.7-एमएम केबिन माउंटेड मशीन गन, ट्रैफिक अलर्ट और टक्कर टालने की प्रणाली लगाई गई है.
‘मेक इन इंडिया’ पहल को बढ़ावा एडमिरल मार्केट्स के खाते
एचएएल ने मार्क-III के हेलीकॉप्टरों को कोच्चि स्थित नौसेना की भौतिक और समुद्र विज्ञान प्रयोगशाला द्वारा विकसित एक स्वदेशी कम आवृत्ति के डंकन सोनार (एलएफडीएस) से लैस किया है. सोनार की इकाइयां भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (बीईएल) द्वारा उत्पादित की जा रही हैं. अब मार्क-थ्री वेरिएंट में एचएएल ने इंटीग्रेटेड आर्किटेक्चर डिस्प्ले सिस्टम (आईएडीएस) के साथ एडमिरल मार्केट्स के खाते एक पूर्ण ग्लास कॉकपिट लगाया है. रोटरी विंग रिसर्च एंड डिज़ाइन सेंटर (आरडब्ल्यूआरडीसी) ने अधिक शक्तिशाली शक्ति इंजन 1एच1 इंजन के साथ एकीकृत किया है.
यह हेलीकॉप्टर सरकार की ‘मेक इन इंडिया’ पहल को बढ़ावा देने के साथ ही सुरक्षित जीवन, सुरक्षित समुद्र तट और सुरक्षित समुद्र सुनिश्चित करने में आईसीजी की भूमिका को और महत्वपूर्ण बनायेंगे.
लॉकडाउन खुलने के बाद हुआ समुद्री परीक्षण
कोविड-19 लॉकडाउन से पहले दो साल के भीतर एचएएल ने तेजी से काम पूरा कर लिया था लेकिन फील्ड ट्रायल पर रोक लगा रखी थी. मई, 2020 में लॉकडाउन प्रतिबंध धीरे-धीरे हटाए जाने के बाद कोच्चि, चेन्नई और गोवा में भारतीय कोस्ट गार्ड ने समुद्री परीक्षण शुरू किये. इसके बाद नवम्बर तक लगभग प्रतिदिन दो हेलीकॉप्टरों से बेंगलुरु में उपयोगकर्ता प्रशिक्षण दिया गया. इसके बाद एचएएल ने नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) के साथ समन्वय में अपग्रेडेड सिविल एमके-III व्हील हेलीकॉप्टर के निर्माण की प्रक्रिया शुरू की.